कल्पना चावला का जीवन परिचय | Kalpana Chawla Biography in Hindi

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इस आर्टिकल में हम कल्पना चावला का जीवन परिचय (Kalpana Chawla information in hindi) पढेंगे, तो चलिए विस्तार से पढ़ते हैं Kalpana Chawla Biography in Hindi – बहुत ही सरल भाषा में लिखा गया है जो परीक्षा की दृष्टि से बहुत ही उपयोगी है। अन्तरिक्ष यात्री कल्पना चावला का जीवन परिचय।

अन्तरिक्ष यात्री कल्पना चावला का जीवन परिचय | Kalpana Chawla information in hindi

नामकल्पना चावला
जन्म17 मार्च 1962
जन्म – स्थानकरनाल, हरियाणा 
मृत्यु1 फरवरी 2003
आयु40 वर्ष
पिता का नामबनारसी लाल चावला
माता का नामसंज्योती चावला
पति का नामजीन पियरे हैरिसन
कल्पना चावला का जीवन परिचय, Kalpana Chawla Biography In Hindi

कल्पना चावला का जीवन परिचय | Kalpana Chawla Biography in Hindi

कल्पना चावला: कल्पना चावला भारत की प्रथम महिला अंतरिक्ष यात्री थी। बचपन से ही कल्पना को एरोनाटिक इंजीनियर बनने का शौक था उनके पिता उन्हें डॉक्टर या शिक्षिका बनाना चाहते थे पर कल्पना बचपन से ही अंतरिक्ष में भ्रमण करने की कल्पना किया करती थी।

सच होगा चांद छूने का भी सपना,
तू कर तो सही कल्पना,
लगेगा तारों का शहर भी अपना,
तू कर तो सही कल्पना |

कल्पना चावला का जन्म

कल्पना चावला का जन्म 17 मार्च 1962 को हुआ था।

कल्पना चावला का जन्म – स्थान

कल्पना चावला हरियाणा के करनाल शहर में जन्मी थी।

कल्पना चावला के पिता का नाम

कल्पना चावला के पिता का नाम बनारसी लाल चावला था।

कल्पना चावला की माता का नाम

कल्पना चावला की माता का नाम संज्योती चावला था।

कल्पना चावला के पति का नाम

कल्पना चावला के पति का नाम जीन पियरे हैरिसन था। जो एक प्लाइंग इंस्ट्रक्टर थे। कल्पना चावला का विवाह सन् 1983 में हुई थी।

कल्पना चावला की शिक्षा

कल्पना अपने सपने को साकार करने के लिए पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज में एरोनौटिकल इंजीनियरिंग पढ़ने के लिए बी०ए० में दाखिला लिया और सन् 1982 में एरोनौटिकल इंजीनियरिंग की डिग्री भी हासिल कर ली। इसके बाद कल्पना अमेरिका चली गयी। और सन 1982 में टेक्सास विश्वविद्यालय में एयरोस्पेस इंजीनियरिंग में स्नातक कोर के लिए दाखिला लिया उन्होंने इस कोर्स को सन् 1984 में सफलतापूर्वक पूरा किया इसके उनके अंतरिक्ष यात्री बनने की इच्छा इतनी प्रबल थी कि उन्होंने सन् 1986 में टेक्सास विश्वविद्यालय में एयरोस्पेस इंजीनियरिंग में स्नातकोत्तर के लिए दाखिला लिया। उन्होंने इस कोर्स को सन् 1984 में सफलता पूर्वक पूरा किया। उनके अन्तरिक्ष यात्री बनने की इच्छा इतनी प्रबल थी कि उन्होंने सन् 1986 में एयरोस्पेस इंजीनियरिंग में दूसरा स्नातकोत्तर भी किया और उसके बाद कोलराडो विश्वविद्यालय से सन् 1988 में एयरोस्पेस इंजीनियरिंग विषय में पी.एच.डी. भी पूरा किया।

कल्पना चावला का प्रारम्भिक जीवन एवं प्रारम्भिक शिक्षा

कल्पना चावला (Kalpana Chawla) अपने परिवार में चार भाई – बहनों में सबसे छोटी थी। कल्पना अपने परिवार में अपने भाई और बहनों तथा माता-पिता सभी से हमेशा आकाशगंगा के बारे में बातें करती और कहती थी कि मैं अंतरिक्ष के लिए ही बनी हूँ और अंतरिक्ष के लिए ही मरूंगी। कल्पना की प्रारंभिक शिक्षा करनाल के टैगोर बाल निकेतन सीनियर सेकेंडरी स्कूल में हुई थी।

कल्पना चावला का करियर

कल्पना चावला भारतीय मूल की अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री और अंतरिक्ष शटल मिशन विशेषज्ञ थी। वे अंतरिक्ष में जाने वाली द्वितीय भारतीय और प्रथम भारतीय महिला थी। सन् 1988 में उन्होंने नासा के अमेस रिसर्च सेंटर में ओवरसेट मेथड्स इक में बतौर उपाध्यक्ष कार्य करना प्रारम्भ किया। वहाँ उन्होंने वी. एस. टी. ओ. एल. में सी. एफ. डी पर अनुसंधान किया कल्पना को हवाई जहाजों ग्लाइडरो व व्यवसायिक विमानचालन के लाइसेंसों के लिए प्रमाणित उड़ान प्रशिक्षण का दर्जा हासिल था कल्पना ने अमेरिका की नागरिकता हासिल कर ली थी। और नासा एस्ट्रोनौट कोर्ष के लिए आवेदन कर दिया। मार्च 1995 में उन्होंने नासा एस्ट्रोनौट कोर्ष ज्वाइन कर लिया।

कल्पना चावला की अंतरिक्ष में पहली उड़ान

कल्पना चावला को पहली उठान सन् 1996 के लिए चुना गया था उनकी पहली उड़ान अंतरिक्ष यान कोलम्बिया (फ्लाइट संख्या एसटीएस-87) में 19 नवंबर 1997 को प्रारम्भ हुई। इस अंतरिक्ष यात्रा के दौरान कल्पना चावला समेत दल में कुल 6 सदस्य थे इसके उड़ान के साथ वे अंतरिक्ष की यात्रा करने वाली पहली भारतीय महिला और दूसरी भारतीय बन गयी। इससे पहले भारत के राकेश शर्मा ने सन् 1984 में अंतरिक्ष की यात्रा की थी। अपने पहली उड़ान में कल्पना चावला ने लगभग एक करोड़ मील की यात्रा की (जो पृथ्वी के लगभग 252 चक्कर के बराबर था) उन्होंने कुल 372 घंटे अंतरिक्ष में बिताए। इस यात्रा के दौरान उन्हें स्पार्टन उपग्रह को स्थापित करने की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। पर इस उपग्रह ने ठीक से कार्य नहीं किया जिसके स्वरूप इस उपग्रह को पकड़ने के लिए दो अंतरिक्ष यात्रियों विस्टन स्काॅट और तकओ दोई को अंतरिक्ष वाक करना पड़ा। इस गड़बड़ी की वजह जानने के लिए नासा ने 5 महीने तक जांच की जिसके बाद पाया गया कि यह गड़बड़ी कल्पना के वजह से नहीं बल्कि सॉफ्टवेयर इंटरफेस और फ्लाइट क्रू और ग्राउंड कण्ट्रोल के कार्यप्रणाली में खामियों के वजह से हुई थी। उनकी पहली अंतरिक्ष यात्रा (एसटीएस – 87) के बाद इससे जुड़ी गतिविधियां पूरी करने के बाद कल्पना चावला को एस्ट्रोनॉट कार्यालय में स्पेस स्टेशन पर कार्य करने की तकनीकि जिम्मेदारी सौंपी गयी।

कल्पना चावला की अंतरिक्ष में दूसरी उड़ान

सन् 2002 में कल्पना को उनके दूसरे अन्तरिक्ष उड़ान के लिए चुना गया। उन्हें कोलंबिया अंतरिक्ष यान के एसटीएस-107 उड़ान के दल में शामिल किया गया। कुछ तकनीकी और अन्य कारणों से यह अभियान लगातार पीछे सरकता रहा और अंततः 16 जनवरी 2003 को कल्पना ने कोलंबिया पर चढ़कर एसटीएस-107 मिशन का आरंभ किया उड़ान दल की जिम्मेदारियों में शामिल थे। लघुगुरुत्व प्रयोग जिसके लिए दल ने 80 प्रयोग किए और जिसके जरिए पृथ्वी व अंतरिक्ष विज्ञान, उन्नत तकनीक विकास व अंतरिक्ष यात्री स्वास्थ्य व सुरक्षित का भी अध्ययन किया गया। कल्पना के साथ इस यात्रा में अन्य यात्री कमांडर माइकल रिक डी हस्बैंड, पायलट विलियम सी मैकूल, कमांडर माइकल पी एंडरसन, इलान रामों, डेविड एम ब्राउन और लौरेज क्लार्क भी थे।

कोलम्बिया अंतरिक्ष यान हादसा और कल्पना की मृत्यु

भारत की पहली महिला अंतरिक्ष यात्री कल्पना चावला की दूसरी अन्तरिक्ष यात्रा ही उनकी अंतिम यात्रा साबित हुई। अपने सभी अनुसंधान के उपरांत वापसी के समय कोलम्बिया अंतरिक्षयान पृथ्वी के वायुमंडल में प्रवेश करते ही टूटकर बिखर गया और देखते ही देखते अंतरिक्षयान और उसमें सवार सातो यात्री खाक हो गए। नासा ही नहीं बल्कि संपूर्ण विश्व के लिए यह एक दर्दनाक घटना थी। कल्पना ने न सिर्फ अंतरिक्ष की दुनिया में उपलब्धियाँ हासिल की, बल्कि तमाम छात्र – छात्राओं को अपने सपनों को जीना सिखाया, कल्पना दुनिया के लिए एक मिसाल हैं, उनके वे शब्द सत्य हो गए जिसको उन्होंने कहा था (कि मैं अंतरिक्ष के लिए ही बनी हूं और अंतरिक्ष के लिए ही मरूंगी)

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इसे लेख में मैंने कल्पना चावला का जन्म – स्थान, प्रारम्भिक जीवन एवं प्रारम्भिक शिक्षा, पिता – माता , पति का नाम, कल्पना चावला की अंतरिक्ष में पहली उड़ान और दूसरी उड़ान, कोलम्बिया अंतरिक्ष यान हादसा और कल्पना की मृत्यु के बारे में पूरी जानकारी शेयर की है अगर आपका कोई सवाल या सुझाव है तो आप नीचे दिए गए Comment Box में जरुर लिखे ।

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